नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की: यह भजन श्रीकृष्ण जन्म और उनके ब्रज में आगमन की अपार खुशी का भावपूर्ण चित्रण है। इसमें गोकुल और ब्रजवासियों के हर्ष, उत्सव और जयघोष का वर्णन है। नंदबाबा और यशोदा के लाल कन्हैया को हाथी, घोड़े, पालकी से सजाकर स्वागत किया जाता है। उन्हें कोटि ब्रह्माण्ड के अधिपति, गोपाल, पशुपाल और भक्तों के आनंदकंद के रूप में स्मरण किया गया है। हर पंक्ति में “जय कन्हैया लाल की” का उद्घोष इस भजन को और भी मंगलमय और उत्सवपूर्ण बना देता है, मानो पूरे ब्रज में आनंद की लहर दौड़ गई हो।
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की लिरिक्स
आनंद उमंग भयो, जय हो नन्द लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
बृज में आनंद भयो, जय यशोदा लाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
जय हो नंदलाल की, जय यशोदा लाल की,
गोकुल में आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
आनंद उमंग भयो, जय हो नन्द लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
बृज में आनंद भयो, जय यशोदा लाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
……
कोटि ब्रह्माण्ड के अधिपति लाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
गउवे चराने आये, जय हो पशुपाल की,
गोकुल में आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
……
पूनम के चाँद जैसी, शोभा है बाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
आनंद उमंग भयो, जय हो नन्द लाल की,
गोकुल में आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
कोटि ब्रह्माण्ड के अधिपति लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
गउवे चराने आये, जय हो पशुपाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
……
भक्तो के आनंदकंद, जय यशोदा लाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
जय यशोदा लाल की, जय हो गोपाल की,
गोकुल में आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
कोटि ब्रह्माण्ड के अधिपति लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
गउवे चराने आये, जय हो पशुपाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
……
आनद से बोलो सब, जय हो बृज लाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
जय हो बृज लाल की, पावन प्रतिपाल की,
गोकुल में आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
कोटि ब्रह्माण्ड के, अधिपति लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
गउवे चराने आये, जय हो पशुपाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
……
आनंद उमंग भयो, जय हो नन्द लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।
जय हो नंदलाल की, जय यशोदा लाल की,
हाथी घोडा पालकी, जय कन्हैया लाल की ।।
बृज में आनंद भयो, जय यशोदा लाल की,
नन्द के आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की ।।