यह भजन “मैं दो-दो माँ का बेटा हूँ” मातृत्व की महिमा और ईश्वर के मातृस्वरूप की अद्भुत झलक दिखाता है। इसमें गायक ने अपनी जन्मदात्री माँ और जगत जननी माता रानी – दोनों की महत्ता को प्रेमपूर्वक गाया है। यह भजन बताता है कि जहाँ एक ओर जननी माँ हमें जन्म देती है, लोरी सुनाती है और अपनी गोद में स्नेह देती है, वहीं दूसरी ओर जगत जननी मां दुर्गा हमें जीवन का सच्चा मार्ग दिखाती हैं, सत्संग कराती हैं और अपनी शरण में लेकर कष्टों से रक्षा करती हैं।










